UP में शिक्षकों की पदोन्नति प्रक्रिया तेज: राजकीय स्कूलों के प्रधानाध्यापक व उपप्रधानाचार्य बन सकेंगे समूह ‘ख’ अधिकारी

 लखनऊ, NIA डेस्‍क।  

उत्तर प्रदेश के राजकीय हाईस्कूलों के प्रधानाध्यापक, इंटर कॉलेजों के उपप्रधानाचार्य समेत समकक्ष पदों पर कार्यरत शिक्षकों का उच्च पदों पर पहुंचने का इंतजार जल्द खत्म हो सकता है। शासन ने अधीनस्थ राजपत्रित से राजपत्रित (समूह ‘ख’) जैसे बेसिक शिक्षा अधिकारी और समकक्ष पदों पर पदोन्नति प्रक्रिया में तेजी ला दी है।

विशेष सचिव (माध्यमिक शिक्षा) उमेश चन्द्र ने 24 अक्टूबर को उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के सचिव को पत्र भेजकर विभागीय चयन समिति (डीपीसी) की बैठक जल्द कराने का अनुरोध किया है।

यह भी पढ़ें : UP Politics: चंद्रशेखर आजाद पर गंभीर आरोप, डॉ. रोहिणी घावरी ने दी सुसाइड की धमकी, सोशल मीडिया पर मचा बवाल


नए नियमों के अनुसार कोटे में बड़ा बदलाव

उत्तर प्रदेश शैक्षिक (सामान्य शिक्षा संवर्ग) सेवा समूह ‘ख’ उच्चतर के 50% पदों पर पदोन्नति से चयन का प्रावधान है।
पहले पुरुष, महिला व खंड शिक्षाधिकारी संवर्ग का कोटा क्रमशः 61%, 22% व 17% था।

हाल ही में संशोधित नियमावली के तहत कोटा निम्नानुसार संशोधित किया गया है—

संवर्ग पहले अब
पुरुष संवर्ग 61% 33%
महिला संवर्ग 22% 33%
खंड शिक्षाधिकारी 17% 34%

बदलाव के बाद सभी को समान और बेहतर अवसर मिलने की उम्मीद बढ़ गई है।


यह भी पढ़ें: UP बिजली कनेक्शन विवाद: स्मार्ट मीटर पर 6016 रुपये, पावर कार्पोरेशन घिरी नियामक के जाल में

पात्रता सूची और सीआर बनाने के निर्देश भी जारी

शासन के उप सचिव (माध्यमिक शिक्षा) सत्येन्द्र कुमार श्रीवास्तव ने माध्यमिक शिक्षा निदेशक को पत्र लिखकर निर्देश दिया है कि—

  • पात्रता सूची

  • मूल चरित्र पंजियां

  • वार्षिक गोपनीय प्रविष्टियां

  • ब्रॉडशीट (अधिकारी हस्ताक्षर व मोहर सहित)

  • सत्यनिष्ठा प्रमाणन

लोक सेवा आयोग को शीघ्र उपलब्ध कराई जाएं, ताकि डीपीसी बैठक बिना देरी सम्पन्न हो सके।


क्या बनेगा लाभ?

Scroll to Top